शिमला 06 मार्च, 2020
शिक्षा, विधि एवं संसदीय कार्य मंत्री सुरेश भारद्वाज ने बजट को किसानों, कर्मचारियों, मजदूरों तथा नौ जवानों को रोजगार प्रदान करने के लिए तथा किसानों की आय को दोगुना करने, शिक्षा में गुणवत्ता लाने तथा सामाजिक क्षेत्र में जनता को प्रोत्साहित करने वाले बजट बताया।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने इस बजट में समाज के प्रत्येक क्षेत्र और प्रत्येक वर्ग को छुआ है।
उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों के किसानों के प्रति समर्पित बजट है, जिसमें किसानों की आय दोगुनी हो इसके लिए सिंचाई, पेयजल, पशुपालन, मौन पालन, मत्सय पालन तथा दुग्ध उत्पादों पर जोर दिया गया है। इसके अतिरिक्त स्वरोजगार के लिए विभिन्न योजनाएं बजट में लाई गई है।
उन्होंने कहा कि यह बजट कर्मचारियों, मजदूरों, पत्रकारों, प्रत्येक सामाजिक क्षेत्र में काम करने वाले लोगों के प्रति समर्पित बजट है।
उन्होंने कहा कि शिक्षा की दृष्टि से इस बजट में गुणात्त्मक शिक्षा को प्रोत्साहित किया गया है। इस संबंध में बढ़ावा दिया गया है। प्राथमिक स्तर पर सरकार द्वारा आरम्भ की गई प्री प्राईमरी कक्षाओं को प्रदेश सरकार की ओर से मिडे-मील के लिए बजट का प्रावधान किया गया है, जो आज तक नहीं था। मिडे-मील वर्कर के मानदेय में बढ़ौतरी की गई है। प्रदेश के सरकारी विद्यालयों में मल्टी टास्क कर्मचारी नियुक्त किए जाएंगे, जो सेवादार व वाटर कैरियर का कार्य करेंगे।
उन्होंने कहा कि प्राईमरी क्षेत्र में कम होती एनरोलमेंट को प्री प्राईमरी के माध्यम से पूरा करने का प्रयास किया गया है। ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों को गुणवत्तापूर्वक शिक्षा प्राप्त हो तथा क्लस्टर स्कूलों को उन्नयित करने के लिए स्वर्ण जंयती ज्ञानदेय क्लस्टर श्रेष्ठ विद्यालय योजना आरम्भ की गई है, जिसके तहत 100 क्लस्टर स्कूल प्रथम चरण में खोले जाएंगे, जिनमें बच्चों और अध्यापकों के लिए आधुनिक सुविधाएं प्रदान की जाएगी, जिनमें बेहतर शौचालय, बिजली, पंखों की व्यवस्था, स्मार्ट कक्षा, फर्नीचर, पानी, लाईब्रेरी व खेल-कूद सुविधा शामिला होगें।
उन्होंने कहा कि उच्च शिक्षा में स्वर्ण जयंती उत्कृष्ट विद्यालय योजना शुरू करने का प्रावधान किया गया है, जिसमें 30 करोड़ रुपये प्रस्तावित है, जिसके तहत प्रथम चरण में इस योजना के अंतर्गत 68 स्कूल, जहां पर विद्यार्थियों की संख्या 500 या इससे अधिक है को प्राथमिकता के आधार पर विकसित किया जाएगा। योजना के तहत स्कूलों की नवीकरण किया जाएगा, जिसमें फर्नीचर का प्रावधान, विद्यालय प्रांगण विकसित करना, खेल-कूद सुविधाओं में सुधार, जिम, स्मार्ट क्लास, विज्ञान प्रयोगशालाएं, बेहतर शौचालय तथा स्वच्छ जल उपलब्ध करवाना सुनिश्चित किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि उत्कृष्ट महाविद्यालय के रूप में प्रदेश सरकार द्वारा 9 महाविद्यालय को स्थापित किया जाएगा, जिसके तहत 9 करोड़ रुपये की राशि प्रस्तावित की गई है। इससे इन महाविद्यालयों में छात्रों को उन विभिन्न विषयों के चयन करने का अवसर मिलेगा जो अन्य विद्यालय में उपलब्ध नहीं है। प्रदेश के स्कूलों में विद्यार्थियों के लिए गणित में आवश्यक कौशल और निपुणता लाने के लिए सरकार ने 50 स्कूलों मंे गणित प्रयोगशालाएं स्थापित करने का लक्ष्य रखा है, जिसके माध्यम से गणित विषय का सरलीकरण कर इसे रोचक बनाया जाएगा।
उन्होंने कहा कि सी.वी. रमन वर्चुअल क्लास रूम योजना आरम्भ की गई है। इस योजना के माध्यम से ऐसे महाविद्यालयों व विद्यालयों में वर्चुअल क्लास रूम के माध्यम से पढ़ाई करवाई जाती है, जहां कठिन भौगोलिक परिस्थितियों के कारण शिक्षकों की कमी है। इस योजना की आरम्भिक सफलता के बाद अब 106 नए शैक्षणिक संस्थानों में वर्चुअल क्लास रूम स्थापित किए जाएंगे।
उन्होंने कहा कि बी. वाॅक को प्रायोगिक स्तर पर राज्य के 12 महाविद्यालयों में शुरू किया गया था, जबकि इस डिग्री कार्यक्रम को छः नए महाविद्यालयों में शुरू किया जाएगा। बी. वाॅक विद्यार्थियों को शिक्षा के उपरांत प्लेसमेंट के संबंध में भी व्यवस्था की जाएगी।
उन्होंने कहा कि मेधा प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत व्यवसायिक कोर्सों में प्रवेश के लिए बढ़ती प्रतिस्पर्धा के दृष्टिगत स्वर्ण जयंती सुपर 100 योजना आरम्भ की गई है, जिसके तहत प्रदेश में 10वीं कक्षा में स्र्वाधिक अंक लेने वाले 100 विद्यार्थियों को व्यवसायिक संस्थानों में प्रवेश के लिए आवश्यक प्रशिक्षण प्राप्त करने के लिए एक लाख रुपये प्रति विद्यार्थी अनुदान सहायता प्रदान की जाएगी। उन्होंने कहा कि सरकारी मेडिकल काॅलेजों, इंजीनियरिंग काॅलेजों तथा अन्य राजकीय व्यवसायिक शैक्षणिक संस्थानों में चरणबद्ध तरीके से जिम/ओपन जिम की सुविधा उपलब्ध करवाई गई है।
उन्होंने कहा कि शिक्षा विभाग में आउटसोर्स आधार पर सेवाएं दे रहे आईटी शिक्षकों के मानदेय में 10 प्रतिशत बढ़ौतरी, मिडे-मील वर्करज तथा वाटर कैरियरज को मिलने वाले मासिक मानदेय को 300 रुपये प्रतिमाह बढ़ाएं गए हैं।
उन्होंने कहा कि एनसीसी युवाओं को फौज/पैरा मिल्ट्री और पुलिस सेवाओं में भर्ती के लिए प्रोत्साहित करने हेतु आवश्यक बटालियन और कम्पनियां खोलने का निर्णय लिया गया है।
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