चंडीगढ़
चंडीगढ़ में बुधवार को हुई कोऑर्डिनेशन कमेटी की बैठक कांग्रेस ने लोकसभा की दो सीटों मंडी और हमीरपुर पर सहमति बना ली है। मंडी सीट पर वर्तमान सांसद और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह का नाम ही फाइनल किया गया है। वह खुद भी बैठक में मौजूद थीं। उनकी ओर से रखे गए संदेहों को भी बैठक में चर्चा में लिया गया। हमीरपुर सीट पर ऊना से पूर्व विधायक सतपाल रायजादा का नाम भी तय हो गया है। हालांकि टिकट पर अंतिम फैसला सेंट्रल इलेक्शन कमेटी दिल्ली में करेगी। इस बैठक में कांगड़ा और शिमला सीटों को लेकर चर्चा फाइनल नहीं हो पाई। इन दोनों सीटों का फैसला दिल्ली में होगा। कांगड़ा सीट पर कांग्रेस ने पूर्व मंत्रीआशा कुमारी और संजय चौहान, जबकि शिमला सीट पर विनोद सुल्तानपुरी, अमित नंदा और दयाल प्यारी का नाम पैनल में रखा है। कोऑर्डिनेशन कमेटी में तय हुआ है कि विधानसभा उपचुनाव की छह सीटों पर प्रत्याशी चयन को लेकर कांग्रेस अभी स्थितियों पर नजर बनाए रखें। इन सीटों पर टिकट उस व्यक्ति को दिया जाए, जिसमें जीतने की क्षमता हो। चाहे किसी अन्य दल से आने वाला ही प्रत्याशी क्यों न हो। कांग्रेस पहले वर्तमान परिस्थितियों में भाजपा से बगावत करने वाले डा. रामलाल मार्कंडेय, राकेश कालिया और नालागढ़ में लखविंदर राणा जैसे नेताओं को लेकर फैसला लेगी, जो पहले भाजपा में चले गए थे। चंडीगढ़ में हुई चर्चा के बाद अब पांच अप्रैल को दिल्ली में स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक होगी। छह अप्रैल को सेंट्रल इलेक्शन कमेटी की बैठक है। इसलिए संभवतया सात अप्रैल तक कांग्रेस लोकसभा और छह विधानसभा के टिकट घोषित कर देगी। उधर, बैठक के बाद मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा है कि लोकसभा चुनाव की पूरी तैयारी पार्टी ने की है।
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सूक्खु ने दावा किया कि लोकसभा के साथ ही सभी छह उपचुनाव कांग्रेस ही जीतेगी। पार्टी पूरी तरह से चुनाव लडऩे के लिए तैयार है। उन्होंने कहा कि पार्टी और सरकार को मजबूत करन के लिए कदम उठाए जाएंगे। कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष प्रतिभा सिंह ने कहा कि उन्होंने टिकट पर फैसला हाईकमान पर छोड़ दिया है। हिमाचल में सरकार और संगठन एकजुटता के साथ काम करेगा। लोकसभा समेत सभी विधानसभा की सीटों पर भी जीत दर्ज होगी। इसी बीच हिमाचल प्रभारी राजीव शुक्ला ने कहा कि समन्वय समिति की बैठक में आगामी रणनीति पर चर्चा की गई है। कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लडऩे और जीतने की क्षमता रखने वाले चेहरों पर विचार किया गया है। राजनीति और परिस्थिति के हिसाब से लोकसभा और विधानसभा चुनाव पर रणनीति बनाएंगे। उधर, उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्रिहोत्री ने कहा कि प्रदेश में उपुचनाव कांग्रेस बनाम कांग्रेस होने जा रहे हैं। जिन सीटों को कांग्रेस के बागियों ने छोड़ा है, उसमें भाजपा कहीं भी नहीं है। हालांकि भाजपा ने जो टिकटें बदली हैं, वहां बगावत हो रही है। कांग्रेस सरकार को कोई खतरा नहीं है। 34 विधायक कांग्रेस के पास हैं। सरकार बनाने के लिए 35 चाहिए। भाजपा के पास 25 सीटें हैं और उन्हें 10 सीटें चाहिए। ऐसे में कोई मुकाबला ही नहीं है।